रेहड़ी-पटरी, ठेले या सड़क किनारे दुकान चलाने वालों के लिए सरकार ने एक लोन स्कीम शुरू की है. इसका नाम पीएम स्वनिधि योजना है. लॉकडाउन के कारण ऐसे दुकानदारों को सबसे ज्यादा दिक्कत का सामना करना पड़ा है. इनकी आजीविका पर सबसे ज्यादा मार पड़ी है. इस स्कीम का मकसद रेहड़ी-पटरी और छोटी दुकान चलाने वालों को सस्ता कर्ज देना है.
इस स्कीम को पीएम स्ट्रीट वेंडर्स आत्मनिर्भर निधि के नाम से भी जानते हैं.
पीएम स्वनिधि योजना के तहत अधिकतम 10 हजार रुपये तक का लोन मिलता है. यह कारोबार को शुरू करने में मदद करता है. यह बेहद आसान शर्तों के साथ दिया जाता है. यह एक तरह का अनसिक्योर्ड लोन है.
कौन हैं पात्र?
सड़क किनारे, ठेले या रेहड़ी-पटरी पर दुकान चलाने वालों को यह कर्ज दिया जाता है. फल-सब्जी, लॉन्ड्री, सैलून और पान की दुकानें भी इस श्रेणी में शामिल की गई हैं. इन्हें चलाने वाले भी यह लोन ले सकते हैं.
कितना है ब्याज?
इस योजना के तहत रियायती दरों पर कर्ज दिया जाता है. समय से कर्ज का भुगतान करने वालों को ब्याज में खास छूट भी दी जाती है.
लोगों को होगा फायदा
इस स्कीम से 50 लाख स्ट्रीट वेंडरों को फायदा पहुंचने की उम्मीद है. जानकार मानते हैं कि यह स्कीम ऐसे दुकानदारों की एक और तरह से मदद करेगी. आमतौर पर ये लोग सूदखोरों के चंगुल में फंस जाते हैं. सूदखोर छोटी सी रकम के बदले उनसे जमकर ब्याज वसूलते हैं. यह स्कीम सूदखोरों के जाल से उन्हें बचाएगी.
पीएम स्वनिधि योजना कामन सर्विस सेंटर csc के माध्यम से होगा आवेदन
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